मंडी टैक्स में इजाफे पर अगस्त तक रोक:सरकार से आदेश मिलने के बाद हड़ताल रोकी; 240 से ज्यादा कृषि मंडियां शामिल थीं
राज्य सरकार की ओर से कृषि मंडियों पर दाल, बाजरा, मक्का, गेहूं, सरसों पर लग रहे 0.5 फीसदी कृषक कल्याण टैक्स को 1 फीसदी करने के अपने आदेशों को वापस ले लिया है। सरकार के इस निर्णय के बाद कृषि मंडी से जुड़े व्यापारियों ने आज अपनी हड़ताल को रोक दिया।
31 अगस्त तक के लिए हुई आदेशों की वापसी
कृषि विभाग की ओर से जारी आदेशों में ये वापसी केवल 31 अगस्त तक ली गई है। 31 अगस्त के बाद इसे वापस 1 फीसदी करने या फिर नए सिरे से इस पर रिव्यू किया जा सकता है। पूर्ववर्ती गहलोत सरकार ने किसानों के कल्याण कोष के लिए इस टैक्स को लगाया था। लेकिन, सरकार कोविड के समय इस टैक्स को 1 फीसदी से कम करके 0.5 फीसदी कर दिया और 1 मार्च 2021 से 30 जून 2024 तक इसे 0.5 फीसदी करने का निर्णय किया।
1 जुलाई से ये टैक्स 0.5 फीसदी बढ़कर 1 फीसदी हो गया। इसका व्यापारियों ने विरोध किया और आज से मंडियों में बंद का ऐलान किया। व्यापारियों के इस विरोध के बाद देर रात सरकार ने आदेश जारी करते हुए इस 0.5 फीसदी टैक्स की अवधि को 30 जून से बढ़कर 31 अगस्त तक कर दिया।
आपको बता दें कि 1 जुलाई से मंडी टैक्स बढ़ने के विरोध में प्रदेश की 240 से ज्यादा कृषि मंडियों के पदाधिकारियों ने 2 जुलाई से 5 जुलाई तक हड़ताल का निर्णय किया था। लेकिन, सरकार ने कृषक कल्याण फीस को बढ़ाने का अपना निर्णय वापस लेने के बाद मंडियों में प्रस्तावित हड़ताल को वापस ले लिया गया।