
रायपुर, 13 फरवरी 2025: राजधानी रायपुर में 11 फरवरी को हुई 60 लाख रुपये की डकैती के मामले में पुलिस ने 30 घंटे के भीतर सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। इस वारदात के पीछे वेल्लू परिवार की एक बहन के प्रेमी और उसके सहयोगियों का हाथ था। पुलिस ने कुल 10 आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जिनमें 9 पुरुष और 1 महिला शामिल हैं।
वारदात की साजिश की पूरी कहानी
घटना 11 फरवरी को रायपुर के अनुपम नगर में हुई थी। पुलिस के अनुसार, डकैती की योजना पिछले 6 महीने से बनाई जा रही थी। इस साजिश का मास्टरमाइंड वेल्लू परिवार की बहन का प्रेमी ए. सोम शेखर था। सोम ने अपनी प्रेमिका उषा वेल्लू से घर में रखे 60 लाख रुपये के बारे में सुना और यह जानकारी डकैती के लिए इस्तेमाल की। सोम ने देवलाल वर्मा और पुरूषोत्तम देवांगन, जो जमीन दलाल थे, को अपने साथ मिलाकर योजना बनाई।
इसके बाद, सोम ने इन दोनों आरोपियों को घर में जाने के लिए प्लम्बर और इलेक्ट्रीशियन का रूप धारण करके घर की रेकी करवाई। रेकी के बाद, दोनों ने अपनी साथी नेहा त्रिपाठी और उसके पति राहुल त्रिपाठी को बताया। नेहा ने शाहिद पठान और पिंटू सारवान को नागपुर से बुलाया, जिन्होंने वारदात में भाग लिया। इसके बाद, सभी आरोपी 11 फरवरी को रिट्ज कार में आर्मी युनिफार्म और नकाब पहनकर घर पहुंचे और डकैती की वारदात को अंजाम दिया।
पुलिस की कार्रवाई और गिरफ्तारी
पुलिस ने अपनी जांच में क्राइम ब्रांच की 50 सदस्यीय टीम लगाई और आरोपियों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त की। वारदात के बाद, पुलिस ने सभी आरोपियों का पीछा करते हुए नागपुर, राजनांदगांव, दुर्ग और भिलाई सहित 6 जिलों में रेड की कार्रवाई की और सभी को गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तार आरोपियों के पास से 59 लाख 50 हजार रुपये, सोने के आभूषण और डकैती में इस्तेमाल की गई रिट्ज और अल्टो कार बरामद की गई। पुलिस ने बताया कि आरोपियों ने डकैती की रकम आपस में बांट ली थी, जिसमें सबसे ज्यादा पैसा नेहा त्रिपाठी और उसके पति राहुल त्रिपाठी के पास था।
आईजी द्वारा पुरस्कार की घोषणा
इस मामले में पुलिस ने तेजी से कार्रवाई करते हुए 30 घंटों के भीतर अपराधियों को पकड़ लिया। रायपुर के आईजी अमरेश मिश्रा ने इस काम के लिए पुलिस टीम को 30 हजार रुपये का नकद इनाम देने की घोषणा की है।
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