CG Sushasan Tihar: सुशासन तिहार का असर, आवेदनों पर कार्रवाई शुरू…

रायपुर। छत्तीसगढ़ में चल रहे ‘सुशासन तिहार’ का असर अब जमीनी स्तर पर नजर आने लगा है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के निर्देश पर शुरू हुई इस पहल का मकसद है – आम जनता की समस्याओं का फटाफट हल करना। इसी कड़ी में रायपुर कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह ने सभी विभागों को सख्त हिदायत दी है कि सुशासन तिहार के तहत मिले आवेदनों पर जल्द से जल्द कार्रवाई करें।

समाधान पेटी से निकला कार्ड, काव्या बाघ को मिला हक

इस अभियान का एक असरदार उदाहरण सामने आया है वार्ड क्रमांक 57, भगवती चरण शुक्ल वार्ड से। यहां रहने वाली काव्या बाघ को लंबे समय से श्रमिक पंजीयन कार्ड (मजदूर कार्ड) बनवाने में दिक्कत हो रही थी। कई चक्कर लगाने के बावजूद कुछ नहीं हो पा रहा था। थक-हारकर उन्होंने अपनी फरियाद सुशासन तिहार के अंतर्गत रखी गई समाधान पेटी में डाल दी।

आवेदन मिलते ही हरकत में आया जिला श्रम विभाग। काव्या से संपर्क किया गया, ज़रूरी दस्तावेज मंगवाए गए और वैरिफिकेशन के बाद उन्हें मजदूर कार्ड जारी कर दिया गया।

योजनाओं का लाभ अब सीधे मिलेगा

कार्ड मिलने के बाद काव्या बाघ ने अपनी खुशी जाहिर की और मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय का आभार जताया। उन्होंने कहा कि अब उन्हें शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ मिलेगा, जिससे वे अब तक वंचित थीं। साथ ही श्रम विभाग ने उन्हें इन योजनाओं की विस्तृत जानकारी भी दी, ताकि वे बेहतर तरीके से इसका उपयोग कर सकें।

समाधान में नहीं होगी देर

कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह ने स्पष्ट कर दिया है कि सुशासन तिहार कोई औपचारिकता नहीं, बल्कि जनता से सीधे जुड़ने और उनकी दिक्कतों का हल निकालने का ठोस जरिया है।

पहले चरण में ऑनलाइन और ऑफलाइन माध्यम से आवेदन लिए गए थे, और अब दूसरे चरण में प्राथमिकता के आधार पर समस्याओं का निराकरण किया जा रहा है।

जनता बोले – “समाधान चाहिए, दिखावा नहीं!”

सुशासन तिहार की यह पहल दिखा रही है कि जब शासन की नीयत साफ हो और सिस्टम सक्रिय हो, तो सामान्य नागरिकों को भी हक और सुविधाएं मिलना मुश्किल नहीं होता।

Also Read: देशभर में शोक की लहर, छत्तीसगढ़ में कार्यक्रम स्थगित, CM साय ने मुंबई दौरा रद्द किया

दक्षिण कोसल का Whatsapp Group ज्वाइन करे

Ravi Pratap Pandey

रवि पिछले 7 वर्षों से छत्तीसगढ़ में सक्रिय पत्रकार हैं। उन्होंने राज्य के सामाजिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक पहलुओं पर गहराई से रिपोर्टिंग की है। जमीनी हकीकत को उजागर करने और आम जनता की आवाज़ को मंच देने के लिए वे लगातार लेखन और रिपोर्टिंग करते रहे हैं।

Related Articles

Back to top button